नई दिल्ली: भीम आर्मी और आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के संस्थापक और सांसद चंद्रशेखर आज़ाद ने शुक्रवार को संसद भवन के बाहर जोरदार प्रदर्शन करते हुए “एक दवा – एक दाम” (One Drug One Price) की नीति लागू करने की मांग की। उन्होंने केंद्र सरकार और स्वास्थ्य मंत्रालय पर सीधा हमला बोलते हुए कहा कि “जब भाजपा सरकार ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ जैसे नारे देती है, तो ‘वन ड्रग, वन प्राइस’ पर चुप क्यों रहती है?” चंद्रशेखर आज़ाद की यह मांग न केवल स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार की दिशा में एक अहम कदम साबित हो सकती है, बल्कि यह गरीब, वंचित और आम नागरिकों की सस्ती चिकित्सा की मांग को मुखर करने वाला आंदोलन बन सकता है। यदि सरकार समय रहते इस मांग पर ठोस कदम नहीं उठाती है तो चंद्रशेखर आजाद इस आंदोलन और तेज़ कर सकते है। क्योंकि संसद परिसर में सत्र के दौरान एक दवा एक दाम जैसे मुद्दे को उठाकर चंद्रशेखर ने इस मुद्दा को राष्ट्रीय मुद्दा बनाने की कोशिश की है। हालांकि यह मुद्दा अलग-अलग समय में देशभर में उठता रहा है। चंद्रशेखर आजाद ने एक दवा एक दाम की मांग को @mygovindia और @MoHFW_INDIA को भी ट्वीट कर अपील की है कि जनहित में तत्काल यह नीति लागू की जाए।
चंद्रशेखर के प्रदर्शन के मुख्य मुद्दे।
🔹 एक ही दवा – सौ कंपनियां, सौ दाम!
🔹 ₹5 की दवा ₹500 में बिक रही है, ये कैसी नीति?
🔹 कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों की दवाएं ₹10 हजार से ₹1 लाख तक!
आज़ाद समाज पार्टी की तीन प्रमुख मांगें।
1. ✅ One Drug One Price Policy पूरे देश में लागू की जाए।
2. ✅ डॉक्टरों को Generic दवाएं लिखना अनिवार्य करने के लिए कानून बने।
3. ✅ हर गली-मोहल्ले में सरकारी सस्ती दवा केंद्र खोले जाएं।
चंद्रशेखर आज़ाद ने कहा: “जनता को लूट नहीं, नीति चाहिए। अब समय है कि केंद्र सरकार और स्वास्थ्य मंत्रालय गरीबों के हक की बात सुने और फार्मा माफिया के खिलाफ कदम उठाए।”